40 वीं GST परिषद की बैठक केंद्रीय वित्त और कॉर्पोरेट मामलों के मंत्री की श्रीमती निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सम्पन्न हुई जिसमें राज्यों के वित्त मंत्रियों के अलावा वित्त और कॉर्पोरेट मामलों के राज्य मंत्री श्री अनुराग ठाकुर और वित्त और राज्यों / केंद्र शासित प्रदेशों के वरिष्ठ अधिकारी सम्मिलित हुए जिसके अंदर जीएसटी परिषद ने कानून और प्रक्रिया परिवर्तनों पर निम्नलिखित सिफारिशें की हैं।
1. उन सभी व्यापारियों के लिए जिनके पास कोई कर देयता नहीं है, लेकिन उन्होंने जुलाई 2017 के लिए जीएसटी रिटर्न दाखिल नहीं किया है - कोई विलंब शुल्क नहीं होगा।
2 जिन लोगों पर कर देयता है, उनके लिए जीएसटीआर -3 बी रिटर्न न भरने के लिए अधिकतम लेट फीस, जुलाई 2017 - जनवरी 2020 की अवधि। 500 /- प्रति माह रखी गई है जो की जुलाई 1, 2020 - 30 सितंबर, 2020 के दौरान जमा किए गए सभी रिटर्न पर लागू होगा
3 छोटे करदाताओं के लिए, जिनका कुल कारोबार 5 करोड़ तक है, 6 जुलाई, 2020 से परे, फरवरी, 2020 के लिए GST रिटर्न के देर से प्रस्तुत करने के लिए ब्याज की दर: ब्याज दर 18% से घटाकर के 9% कर दी गई है।
4 छोटे करदाताओं, जिनका कुल कारोबार 5 करोड़ तक है, उन्हें लेट फीस और ब्याज की छूट तभी प्रदान की जाएगी यदि वे सितंबर 2020 तक मई, जून और जुलाई 2020 में प्रभावित होने वाली आपूर्ति के लिए फॉर्म GSTR-3B फाइल करते हैं।
5 ऐसे कर दाताओं जिनका पंजीकरण रद्द हो गया था तथा वो समय में बहाल नहीं करा सके तो उनका जीएसटी पंजीकरण को उन्हें उन सभी मामलों में 30 सितंबर, 2020 तक पंजीकरण चालू करने के लिए आवेदन करने का अवसर दिया जा रहा है, जहां पंजीकरण 12 जून, 2020 तक रद्द कर दिया गया है।